घास और मूंगफली के छिलके खाने को मजबूर लोग! इस शहर में तेजी से गंभीर हो रहा भुखमरी का संकट

Sudan Civil War: अफ्रीकी देश सूडान में जारी हिंसा के बीच आम लोगों में खाद्य का संकट बढ़ता जा रहा है। संयुक्त राष्ट्र की एजेंसी ने चेतावनी जारी कर कहा कि पश्चिमी सूडान के दारफुर में लोग भुखमरी का शिकार हो रहे हैं वहीं हिंसा देश को तबाह कर रही है। विश्व खाद्य कार्यक्रम (डब्ल्यूएफपी) के क्षेत्रीय निदेशक ने माइकल डनफोर्ड ने कहा कि लोग भुखमरी के कारण घास और मूंगफली के छिलके खाने को मजबूर है। डनफोर्ड ने कहा कि अगर समय पर मानवीय सहायता नहीं पहुंचती है तो इन सूडान और डारफुर में भुखमरी और मौत का खतरा बढ़ सकता है।

बता दें कि सूडान अप्रैल 2023 से गृहयुद्ध चल रहा है। यहां सूडानी सेना और अर्द्धसैनिक बलों (रैपिड सपोर्ट फोर्सेज) के बीच लड़ाई जारी हैं। इसके बाद इस देश के नागरिक कई अफ्रीका के पड़ोसी देशों में शरण लेने चले गए। मानवाधिकार संगठनों की मानें तो गुरुवार को दक्षिण दारफुर में बंदूकधारियों ने रेड क्राॅस अंतराष्ट्रीय समिति के 2 ड्राइवरों की हत्या कर दी। जबकि 3 कर्मचारी भी घायल हो गए।

The border between Sudan and Chad is shown on April 25. More than 8.7 million people have been displaced by the war between the Sudanese army and the paramilitary RSF, according to the UN.

Pic Credit- CNN

हवाई हमलों में बर्बाद हो गई राजधानी एल फैशर

जानकारी के अनुसार हालात तब ज्यादा भयावह हो गए जब आरएसएफ ने दारफुर की राजधानी एल फैशर को घेर कर गोलीबारी शुरू कर दी। यूएन के उप मानवीय समन्यक टोबी हेवर्ड ने गुरुवार को कहा कि शहर और उसके आसपास के क्षेत्रों में रैपिड फोर्सेज के जवान लोगों को मौत के घाट उतार रहे हैं। इसके साथ ही बमबारी भी कर रहे हैं।

टोबी ने बताया कि एल फैशर के हजारों लोग अपना घर छोड़कर विस्थापित हो गए हैं। यूनिसेफ के अनुसार 5 लाख लोग सूडान में हिंसा के कारण अन्य जगहों पर पलायन करने को मजबूर हैं। यूनिसेफ के कार्यकारी निदेशक कैथरीन रसेल न गुरुवार को बताया कि पिछले दो सप्ताह में लड़ाई बढ़ने के बाद आसपास के क्षेत्रों से 43 लोग मारे गए।

17 लाख लोग भुखमरी के शिकार

विश्व खाद्य कार्यक्रम के अनुसार दारफुर में खाद्य सहायता करने में भी कई परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। दारफुर क्षेत्र में लगभग 17 लाख लोग भुखमरी का सामना कर रहे हैं। वहीं दूसरी ओर सूडान के पड़ोसी देश चाड ने टाइन सीमा पार कर आने वाले लोगों को भी रोक दिया है। यूएन में गृहयुद्ध के कारण 80 लाख से अधिक लोग विस्थापित हुए हैं। जिसमें 40 लाख से अधिक बच्चे शामिल है।

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