पर्दाफाश न्यूज़ ब्यूरो कानपुर देहात :: कानपुर देहात में मंगलवार को दिशा समिति की बैठक उस वक्त अखाड़ा बन गई, जब भाजपा सांसद देवेंद्र सिंह भोले और राज्यमंत्री प्रतिभा शुक्ला के पति व पूर्व सांसद अनिल शुक्ल वारसी आपस में भिड़ गए।
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बैठक में गाली-गलौज से शुरू हुई बहस हाथापाई तक पहुंच गई। स्थिति बिगड़ती देख डीएम कपिल सिंह और एसपी श्रद्धांजलि पांडे ने बीच-बचाव कर मामला शांत कराया और बैठक को बीच में ही स्थगित कर दिया गया।
“मैं कानपुर देहात का सबसे बड़ा हिस्ट्रीशीटर हूं”
हंगामे के दौरान सांसद भोले ने कहा— “अगर गुंडों की बात की जाएगी तो मुझसे बड़ा गुंडा कोई नहीं है। मैं कानपुर देहात का सबसे बड़ा हिस्ट्रीशीटर हूं।” उन्होंने आरोप लगाया कि पूर्व सांसद हर बार चुनाव से पहले विवाद खड़ा करते हैं और अफसरों को निशाना बनाते हैं।
वारसी ने लगाए गंभीर आरोप
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पूर्व सांसद अनिल शुक्ल वारसी ने कहा कि सांसद भोले ने दिशा समिति में ऐसे लोगों को शामिल किया है जो फैक्ट्री मालिकों से वसूली करते हैं और झूठे मुकदमे दर्ज कराते हैं।
सपा ने साधा निशाना
सपा जिलाध्यक्ष अरुण कुमार बबलू राजा ने तंज कसते हुए कहा—“दो इंजन की सरकार आपस में भिड़ रही है। जो दूसरों को गुंडा सरकार कहते थे, वे खुद मैदान में उतर आए हैं। अब विकास कैसे होगा?”
सांसद भोले का राजनीतिक सफर
देवेंद्र सिंह भोले 2014 और 2019 में अकबरपुर सीट से भाजपा सांसद चुने गए। इससे पहले वे 1993 और 1996 में डेरापुर विधानसभा से विधायक रहे।
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पुराने विवाद भी रहे सुर्खियों में
2024 के लोकसभा चुनाव में नामांकन के वक्त भी भोले की कलेक्ट्रेट परिसर में पुलिस से बहस हो गई थी।
वहीं, जुलाई 2025 में राज्यमंत्री प्रतिभा शुक्ला और उनके पति अनिल शुक्ल वारसी ने कोतवाली में 6 घंटे का धरना दिया था, जिसके बाद सरकार ने उन्हें नोटिस भी जारी किया था।
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