रायपुर में ‘न्यूड पार्टी’ का विरोध, सोशल मीडिया पर वायरल पोस्टर्स ने मचाया हड़कंप

छत्तीसगढ़ के रायपुर में ड्रग्स पार्टियों के बाद अब न्यूड पार्टी के आयोजन को लेकर हड़कंप मचा हुआ है. 21 सितंबर की रात आयोजित होने वाली इस पार्टी के पोस्टर सोशल मीडिया पर अलग-अलग अकाउंट से वायरल हो रहे हैं. पोस्टर्स में लड़के और लड़कियों को बिना कपड़ों के पार्टी में शामिल होने के लिए आमंत्रित किया गया है, जिसे लेकर राजधानी में लोगों में चिंता और आक्रोश की स्थिति पैदा हो गई है.

वायरल पोस्टर्स में दावा किया गया है कि पार्टी में पूल पार्टी, ड्रग्स और अन्य अश्लील कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे. इस तरह के आयोजनों का उद्देश्य युवाओं को आकर्षित करना और ओपन सेक्स जैसी गतिविधियों में शामिल करना बताया जा रहा है.

क्या है न्यूड पार्टी मामला?

सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म्स जैसे इंस्टाग्राम पर पिछले कुछ दिनों से न्यूड पार्टी, स्ट्रेंजर पार्टी और हाउस पूल पार्टी जैसे आयोजनों के विज्ञापन तेजी से फैल रहे हैं. हालांकि पोस्टर्स में पार्टी का कोई सही समय और तारीख तो दर्ज है, लेकिन स्थल का जिक्र भी नहीं किया गया है. अलग-अलग तारीख से पोस्टर वायरल हो रहे है.

इस मुद्दे पर राजनीतिक दलों ने भी प्रतिक्रिया दी है. कांग्रेस और शिवसेना (शिंदे गुट) ने इस तरह के आयोजनों का विरोध किया है और चेतावनी दी है कि रायपुर में कोई भी अश्लील पार्टी नहीं होने दी जाएगी.

समाज में अश्लीलता फैलाने वालों पर कार्रवाई- धनंजय

शिवसेना (शिंदे) के प्रदेश अध्यक्ष धनंजय सिंह परिहार ने कहा कि समाज में अश्लीलता फैलाने की कोशिश करने वालों को किसी भी तरह का आयोजन करने नहीं दिया जाएगा. उन्होंने यह भी कहा कि ऐसे लोगों को उचित सबक सिखाया जाएगा.

लॉ एंड ऑर्डर के लिए कौन जिम्मेदार- कांग्रेस

कांग्रेस ने भी सरकार पर सवाल खड़े किए हैं. पार्टी ने कहा कि पहले युवाओं को शराब के माध्यम से प्रभावित किया गया, इसके बाद प्रदेश में पाकिस्तानी ड्रग्स का चलन बढ़ा और अब इस तरह की अश्लील पार्टीयों का आयोजन खुलकर हो रहा है. कांग्रेस ने पूछा कि आखिर इन आयोजनों को संरक्षण कौन दे रहा है और लॉ एंड ऑर्डर के लिए कौन जिम्मेदार है.

वायरल हो रहे पोस्टर्स की पुलिस ने शुरू की जांच

विशेषज्ञों का मानना है कि सोशल मीडिया के माध्यम से इस तरह के आयोजनों की जानकारी फैलाना युवा समाज के लिए खतरनाक साबित हो सकता है. ऐसे आयोजनों से न केवल सामाजिक नैतिकता प्रभावित होती है, बल्कि युवा वर्ग पर गलत प्रभाव भी पड़ता है. प्रशासन ने फिलहाल इस मामले में सतर्क रहने की चेतावनी दी है और सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे पोस्टर्स की जांच शुरू कर दी है.

Input By : विनीत पाठक

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