आजादी से अबतक कौन कब-कब रहा उपराष्ट्रपति, देखें पूरी लिस्ट

भारत के 14वें उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ के इस्तीफे के बाद एनडीए ने अपने उपराष्ट्रपति उम्मीदवार की घोषणा कर दी है। अब एनडीए ने सीपी राधाकृष्णन को उपराष्ट्रपति चुनाव के लिए नॉमिनेट किया है। भारत का उपराष्ट्रपति देश का दूसरा सबसे महत्वपूर्ण संवैधानिक पद है। यह न केवल राज्यसभा का सभापति होता है, बल्कि राष्ट्रपति की अनुपस्थिति में उनकी जिम्मेदारियां भी संभालता है।

साल 1947 में भारत के आजाद होने बाद साल 1950 में संविधान लागू हुआ। इसके बाद 1952 में देश को पहला उपराष्ट्रपति सर्वपल्ली राधाकृष्णन के रूप में मिला। साल 1952 से 2025 तक भारत में कुल 14 उपराष्ट्रपति रह चुके हैं। इनमें से कई बाद में राष्ट्रपति भी बने, और कुछ ने अपने कार्यकाल में महत्वपूर्ण योगदान दिया। कुछ ने दो कार्यकाल पूरे किए, जबकि कुछ ने बीच में इस्तीफा देकर राष्ट्रपति का पद संभाला। आइए जानते हैं कि आजादी से अब तक कौन-कौन भारत का उपराष्ट्रपति पद पर आसीन हुआ है?

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सर्वपल्ली राधाकृष्णन

    भारत के पहले उपराष्ट्रपति सर्वपल्ली राधाकृष्णन का कार्यकाल 13 मई 1952 से 12 मई 1962 तक रहा। वे एक प्रसिद्ध दार्शनिक और शिक्षाविद थे, जिन्होंने उपराष्ट्रपति के रूप में राज्यसभा को मजबूत नेतृत्व दिया और बाद में 1962 से 1967 तक भारत के राष्ट्रपति बने।

    जाकिर हुसैन

    जाकिर हुसैन ने 13 मई 1962 से 12 मई 1967 तक उपराष्ट्रपति के रूप में कार्य किया। वे पहले मुस्लिम उपराष्ट्रपति थे और एक मशहूर शिक्षाविद थे, जिन्होंने शिक्षा के क्षेत्र में बड़ा योगदान दिया। 1967 में वे राष्ट्रपति बने, लेकिन 1969 में उनका निधन हो गया।

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    वी.वी. गिरी

      वी.वी. गिरी ने 13 मई 1967 से 3 मई 1969 तक उपराष्ट्रपति का पद संभाला। वे एक प्रमुख श्रमिक नेता और पूर्व गवर्नर थे, जिन्होंने मजदूरों के हितों के लिए काम किया। 1969 में उन्होंने राष्ट्रपति चुनाव के लिए इस्तीफा दिया और बाद में राष्ट्रपति बने।

      गोपाल स्वरूप पाठक

        गोपाल स्वरूप पाठक ने 31 अगस्त 1969 से 30 अगस्त 1974 तक उपराष्ट्रपति के रूप में सेवा दी। पूर्व जज और केंद्रीय मंत्री रहे पाठक पहले ऐसे उपराष्ट्रपति थे, जो राष्ट्रपति नहीं बने। उन्होंने अपने कार्यकाल में निष्पक्षता के साथ राज्यसभा का संचालन किया।

        बी.डी. जट्टी

          बी.डी. जट्टी ने 31 अगस्त 1974 से 30 अगस्त 1979 तक उपराष्ट्रपति का पद संभाला। पूर्व मुख्यमंत्री और गवर्नर रहे जट्टी ने 1977 में राष्ट्रपति की अनुपस्थिति में कार्यवाहक राष्ट्रपति की भूमिका भी निभाई। उनके कार्यकाल में राज्यसभा का संचालन प्रभावी रहा।

          मोहम्मद हिदायतुल्लाह

            मोहम्मद हिदायतुल्लाह ने 31 अगस्त 1979 से 30 अगस्त 1984 तक उपराष्ट्रपति के रूप में कार्य किया। सुप्रीम कोर्ट के पूर्व मुख्य न्यायाधीश रहे हिदायतुल्लाह ने 1982 में कार्यवाहक राष्ट्रपति की जिम्मेदारी भी संभाली। उनके कार्यकाल में संवैधानिक मूल्यों को मजबूती मिली।

            आर. वेंकटरमण

              आर. वेंकटरमण ने 31 अगस्त 1984 से 24 जुलाई 1987 तक उपराष्ट्रपति का पद संभाला। पूर्व केंद्रीय मंत्री रहे वेंकटरमण ने अपने कार्यकाल में राज्यसभा को कुशलता से चलाया और 1987 में इस्तीफा देकर भारत के राष्ट्रपति बने।

              शंकर दयाल शर्मा

                शंकर दयाल शर्मा ने 3 सितंबर 1987 से 24 जुलाई 1992 तक उपराष्ट्रपति के रूप में सेवा दी। पूर्व केंद्रीय मंत्री और गवर्नर रहे शर्मा ने अपने कार्यकाल में सामाजिक और शैक्षणिक मुद्दों पर ध्यान दिया। 1992 में वे राष्ट्रपति बने।

                के.आर. नारायणन

                  के.आर. नारायणन ने 21 अगस्त 1992 से 24 जुलाई 1997 तक उपराष्ट्रपति का पद संभाला। पूर्व राजनयिक और पहली दलित पृष्ठभूमि के उपराष्ट्रपति रहे नारायणन ने अपने कार्यकाल में समावेशी नीतियों को बढ़ावा दिया। 1997 में वे राष्ट्रपति बने।

                  कृष्णकांत

                    कृष्णकांत ने 21 अगस्त 1997 से 27 जुलाई 2002 तक उपराष्ट्रपति के रूप में कार्य किया। स्वतंत्रता सेनानी और पूर्व गवर्नर रहे कृष्णकांत का कार्यकाल उनके निधन तक चला। उन्होंने सामाजिक मुद्दों पर सक्रियता दिखाई।

                    भैरों सिंह शेखावत

                      भैरों सिंह शेखावत ने 19 अगस्त 2002 से 21 जुलाई 2007 तक उपराष्ट्रपति का पद संभाला। राजस्थान के पूर्व मुख्यमंत्री रहे शेखावत बीजेपी से पहले उपराष्ट्रपति थे। उन्होंने अपने कार्यकाल में राज्यसभा को प्रभावी ढंग से चलाया।

                      मोहम्मद हामिद अंसारी

                        मोहम्मद हामिद अंसारी ने 11 अगस्त 2007 से 10 अगस्त 2017 तक उपराष्ट्रपति के रूप में दो कार्यकाल पूरे किए। पूर्व राजनयिक रहे अंसारी ने अपने लंबे कार्यकाल में राज्यसभा के संचालन में निष्पक्षता और कुशलता दिखाई।

                        एम. वेंकैया नायडू

                          एम. वेंकैया नायडू ने 11 अगस्त 2017 से 10 अगस्त 2022 तक उपराष्ट्रपति का पद संभाला। पूर्व केंद्रीय मंत्री और बीजेपी नेता रहे नायडू ने राज्यसभा में अनुशासन और उत्पादकता पर जोर दिया। उनके कार्यकाल में संसदीय चर्चाओं को बढ़ावा मिला।

                          जगदीप धनखड़

                            जगदीप धनखड़ ने 11 अगस्त 2022 से वर्तमान (2025 तक) तक उपराष्ट्रपति के रूप में कार्य किया। अब इन्होंने इस्तीफा दे दिया है। पश्चिम बंगाल के पूर्व गवर्नर और वकील रहे धनखड़ ने अपने कार्यकाल में राज्यसभा की कार्यवाही को मजबूत करने पर ध्यान दिया।

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