महाराष्ट्र विधान परिषद में विपक्ष के नेता अंबादास दानवे ने देवेंद्र फडणवीस के नेतृत्व वाली महायुति सरकार पर हमला बोला है. उन्होंने दावा करते हुए कहा है कि पहले राज्य सरकार पर 9 लाख 12 हजार करोड़ रुपये का कर्ज था, जो अब 10 लाख करोड़ रुपये से भी ज्यादा हो गया है. उन्होंने आरोप लगाते हुए कहा कि अंतिम सप्ताह प्रस्ताव पर उठाए गए सवालों के जवाब देने की बजाय सत्ता पक्ष ने सदन में बाहरी मुद्दे उठाकर जनता के सवालों से भागने का काम किया है.
दानवे ने प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान कहा, ”महायुति सरकार जनता विरोधी है. नकली बीजों के बड़े घोटाले हुए हैं, लेकिन इस पर कोई कानून नहीं लाया गया. इस सत्र में कई मंत्रियों ने बस समय बिताया है. यह सरकार महाराष्ट्र और जनता के हितों की रक्षा करने में पूरी तरह से विफल रही है.”
अंबादास दानवे ने भ्रष्टाचार समेत कई मसले उठाए
विपक्ष नेता के तौर पर उन्होंने इस सत्र में मुंबई के मिल मजदूरों, शिक्षकों के मुद्दे, कानून व्यवस्था, भ्रष्टाचार, शालार्थ आईडी घोटाला जैसे विषय सदन में उठाए. शक्तिपीठ महामार्ग, हिंदी थोपने का मुद्दा, मेघा इंजीनियरिंग का मामला भी सदन में उठाया, लेकिन सरकार ने इन पर कोई स्पष्टता नहीं दी, इस पर दानवे ने नाराजगी जताई.
जल जीवन मिशन योजना के लिए फंड नहीं- दानवे
दानवे ने सरकार की कड़ी आलोचना करते हुए कहा, ”सत्ताधारी विधायकों ने वारकरी समुदाय को नक्सली कहा. जल जीवन मिशन योजना के लिए अब तक निधि नहीं दी गई. उत्पादन शुल्क विभाग के तहत 328 परमिट जारी किए जाने वाले हैं. 1972 से जिन परमिटों पर रोक थी, वह अब इस सरकार के दौरान फिर से शुरू हो रहे हैं.
सत्ताधारी विधायक जगह-जगह हंगामा कर रहे- दानवे
उन्होंने आगे कहा, ”कैंटीन में ‘चड्डी बनियान गैंग’ ने आंदोलन किया. सत्ताधारी विधायक जगह-जगह हंगामा कर रहे हैं. जहां कानून बनाए जाते हैं, उस लोकतंत्र के मंदिर विधानभवन में ही कानून का उल्लंघन हुआ. मुख्यमंत्री ने सारे अधिकार अपने पास रखे हैं, जिससे मंत्रियों के पास अधिकार नहीं बचे और इसलिए कई मंत्री हताश हैं.”
योजनाओं के नाम पर पैसे की बर्बादी कर रही सरकार- दानवे
अंबादास दानवे ने सरकार को घेरते हुए कहा, ”सरकार विभिन्न योजनाओं के नाम पर पैसे की बर्बादी कर रही है. ‘लाडकी बहन’ योजना में कम से कम महिलाएं आएं, इसके लिए प्रयास किए जा रहे हैं. सत्ताधारी विधायक मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस की आरती करने में लगे हुए हैं. राज्य में दुबार और तीसर पेरणी की समस्या के बीच भी सत्ताधारी नेताओं ने केवल राजनीतिक भाषणबाजी की. नरेंद्र मोदी और अमित शाह के चरण वंदन का काम किया.”
फंड के अभाव में विकास का काम ठप- अंबादास दानवे
शिवसेना (यूबीटी) नेता ने आगे कहा, ”विकास कार्य निधि के अभाव में बंद हो रहे हैं, जबकि सरकार केवल विकास की झूठी बातें कर रही है. रोज नए उद्योग राज्य से बाहर जा रहे हैं, लेकिन सरकार जनता की भावनाओं को नजरअंदाज कर रही है. सरकार ठेकेदारों, कमीशन, लूटखसोट और घोटालों में उलझी है, जनता के विकास के लिए पैसा नहीं दे रही है और इसी के खिलाफ सदन में लगातार आवाज उठाई गई है.”
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