जर्मनी की अनोखी परंपरा ‘Advent Calendar’ भारतीय दर्शन ‘तमसो मा ज्योतिर्गमय’ से कितना मेल खाती है?

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Advent Calendar जर्मनी की वह परंपरा है, जिसमें क्रिसमस से पहले 24 दिनों तक रोज़ एक छोटी विंडो खोलकर ‘अंधकार से प्रकाश की ओर’ बढ़ने की आध्यात्मिक तैयारी की जाती है. यह पर्व जर्मनी में 30 नवंबर 2025 से आरंभ हो चुका है. यह परंपरा भारतीय दर्शन के प्रख्यात वाक्य ‘तमसो मा ज्योतिर्गमय’ से गहराई से मेल खाता है, जहां हर दिन थोड़ा प्रकाश, थोड़ा चिंतन और थोड़ी आशा जोड़ते हुए मनुष्य भीतर की रोशनी की ओर यात्रा करता है.

Advent Calendar: जर्मनी की सांस्कृतिक धरोहर

19वीं सदी के जर्मनी में Advent Calendar की शुरुआत बच्चों को क्रिसमस के आने और प्रतीक्षा के आनंद को समझाने के लिए हुई. शुरुआत में परिवार दीवार पर 24 Chalk Marks बनाते थे, फिर बाद में मोमबत्तियां जलाई जाती थीं. 1903 में Gerhard Lang ने पहला मुद्रित Advent Calendar बनाया, 24 छोटी-छोटी खिड़कियों वाला, जिसमें हर दिन एक संदेश, तस्वीर या छोटी मिठाई मिलती थी.

यहीं से यह परंपरा जर्मनी की सांस्कृतिक पहचान बन गई. यह सिर्फ एक कैलेंडर नहीं, बल्कि हर दिन के साथ थोड़ा अर्थ जोड़ने वाला Ritual है, प्रतीक्षा, शांति और आशा का एक छोटा उत्सव.

तमसो मा ज्योतिर्गमय: भारतीय दर्शन का मूल संदेश

उपनिषदों का यह महान वाक्य, ‘तमसो मा ज्योतिर्गमय’ का दर्शन बहुत गहरा है ‘अंधकार से प्रकाश की ओर ले चलो.’ यहां अंधकार सिर्फ बाहरी अंधकार नहीं, बल्कि,

  • मन का भ्रम
  • चिंता
  • अज्ञान
  • बेचैनी
  • अव्यवस्था का प्रतीक है.

प्रकाश से यहां तात्पर्य है स्पष्टता, ज्ञान, धैर्य, आशा और आत्म-प्रकाश से है. भारतीय दर्शन कहता है कि मनुष्य की पूरी आध्यात्मिक यात्रा ‘प्रकाश की ओर धीरे-धीरे बढ़ने’ से पूरी होती है.

दो परंपराओं की एक समान आध्यात्मिक धारा

1- दोनों में ‘धीरज और दैनिक प्रगति’ का विचार

Advent Calendar कहता है, हर दिन एक विंडो खोलो, एक छोटी खुशी पाओ, और आगे बढ़ो. भारतीय दर्शन कहता है, दैनिक साधना ही परिवर्तन की नींव है. दोनों एक ही सत्य बताते हैं, छोटे-छोटे कदम बड़े प्रकाश तक ले जाते हैं.

2- अंधकार से प्रकाश की यात्रा, एक साझा आध्यात्मिक भाषा

Advent candles और Advent windows दोनों इस यात्रा का दृश्य रूप हैं. ठीक उसी तरह उपनिषदों का ‘ज्योतिर्गमय’ मन के अंधकार को दूर करने की आंतरिक यात्रा है.

3- प्रतीक्षा को पवित्र बनाना

Advent Calendar प्रतीक्षा को आनंद और अर्थ में बदल देता है. भारतीय दर्शन में भी नवरात्रि, दीपावली, शिवरात्रि, हर पर्व से पहले ‘तैयारी’ ही पूजा का हिस्सा है.

4- परिवार और समुदाय का भावनात्मक जुड़ाव

जर्मनी में Advent Calendar घरों में warmth लाता है. भारत में भी सामूहिक त्योहारों का आधार यही है, तैयारी और एकता.

आधुनिक युग में यह कनेक्शन क्यों महत्वपूर्ण है?

आज की डिजिटल और तेज़ ज़िंदगी में लोग,

  • मानसिक दबाव
  • एकाकीपन
  • भावनात्मक थकान
  • तनाव का सामना कर रहे हैं.

ऐसे में दोनों परंपराएं मानसिक स्थिरता का रास्ता दिखाती हैं, धीरे-धीरे जीने का मार्ग, और हर दिन अर्थ बनाने का अवसर. वैज्ञानिक शोध बताते हैं कि Rituals Anxiety कम करते हैं और Emotional well-being बढ़ाते हैं. Advent Calendar एक Gentle ritual है और ‘तमसो मा ज्योतिर्गमय’ एक Timeless मानसिक मार्गदर्शन. यही ‘Light is a daily practice.’ है.

Advent Calendar और ‘तमसो मा ज्योतिर्गमय’ अलग संस्कृतियों से हैं, पर उनका संदेश एक है, अंधकार से प्रकाश की ओर बढ़ना. जर्मनी की यह सुंदर परंपरा और भारत का यह दार्शनिक वाक्य, दोनों मिलकर हमें याद दिलाते हैं कि प्रकाश कभी अचानक नहीं आता, वह छोटे-छोटे चीजों से जन्म लेता है.

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