सऊदी अरब के मदीना में सोमवार (17 नवंबर) को हुए सड़क हादसे में उमरा करने गए 42 भारतीयों की मौत हो गई. मक्का से मदीना जाते समय बस डीजल टैंकर से टकरा गई और इसमें आग लगने के कारण ये हादसा हुआ है. इस घटना में सिर्फ एक व्यक्ति ही जिंदा बचा है. बता दें कि मरने वालों में अधिकतर महिलाएं और बच्चे हैं. सभी पीड़ित तेलंगाना के हैदराबाद के रहने वाले थे. इस हादसे में 20 महिलाओं और 11 बच्चों की भी जान गई है.
हैदराबाद के एक परिवार के कई लोगों की इस हादसे में मौत हुई है. न्यूज एजेंसी एएनआई से बात करते हुए एक परिजन ने बताया कि इस हादसे में उनके सास, ससुर, साले और सालियों की मौत हो गई है. उन्होंने बताया कि उनके परिवार के कुल 18 लोगों की जान चली गई है. उन्होंने कहा कि हम वहां जाना चाहते हैं ताकि परिजनों को मिट्टी दे सकें.
‘अल्लाह ताला उनके नसीब में वहां था’
उन्होंने भावुक होते हुए कहा कि वो सब बड़ी अच्छी जगह गए हैं. अल्लाह ताला उनके नसीब में वहां था. मुझे अपनी बेटी को हिम्मत देना है बस और कुछ नहीं करना है. इस हादसे को लेकर कई लोगों ने सरकार से सऊदी अरब जाने की मांग की है. एक अन्य पीड़ित परिजन ने बताया कि उनके परिवार के 4 लोगों की वहां मौत हो गई है.
‘हमें भी सऊदी जाने की परमिशन दी जाए’
पीड़ित से जब पूछा गया कि उन्हें ये जानकारी कैसे मिली तो उन्होंने बताया कि मक्का से हमें फोन आया था, जिससे हमें इस घटना के बारे में पता चला. उन्होंने आगे कहा कि हम भी सऊदी अरब जाना चाहते हैं हमें इसकी परमिशन दी जाए. एक अन्य शख्स ने बताया कि उन्हें अभी तक मरने वालों की लिस्ट नहीं मिली है.
इस घटना को लेकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और विदेश मंत्री ने भी दुख जाहिर किया है. विदेश मंत्री का कहना है कि सऊदी अरब के अधिकारियों के साथ भारतीय दूतावास लगातार संपर्क में है और हालात पर नजर बनाए हुए हैं.
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