Viksit UP: Getting Suggestions From The Public

Viksit UP

लखनऊ: योगी सरकार (Yogi Government)  द्वारा संचालित ‘समर्थ उत्तर प्रदेश–विकसित उत्तर प्रदेश @2047’ (Samarth UP-Viksit UP) अभियान निरंतर जनभागीदारी और सुझावों के साथ आगे बढ़ रहा है। मंगलवार तक प्रदेश के सभी 75 जनपदों में नोडल अधिकारियों एवं प्रबुद्धजनों ने भ्रमण कर छात्रों, शिक्षकों, व्यावसायियों, उद्यमियों, कृषकों, स्वयंसेवी संगठनों, श्रमिक संगठनों, मीडिया और आम जनमानस से संवाद किया। इस संवाद में न केवल विगत आठ वर्षों की विकास यात्रा साझा की गई, बल्कि भविष्य की दिशा तय करने हेतु रोडमैप पर चर्चा और फीडबैक भी प्राप्त किया गया।

करीब दो लाख से अधिक फीडबैक दर्ज

सरकार द्वारा विकसित पोर्टल samarthuttarpradesh.up.gov.in पर अब तक करीब दो लाख फीडबैक दर्ज किए जा चुके हैं। इनमें से ग्रामीण क्षेत्रों में करीब 1.35 लाख और नगरीय क्षेत्रों में करीब 65 हजार फीडबैक प्राप्त हुए। आयु वर्ग के अनुसार करीब 75 हजार सुझाव 31 वर्ष से कम आयु वर्ग से, करीब 1 लाख से अधिक सुझाव 31-60 वर्ग से और 60 वर्ष से अधिक आयु वर्ग से करीब 25 हजार से अधिक सुझाव आए हैं।

शिक्षा क्षेत्र पर सबसे अधिक राय

जनता के बीच शिक्षा अब भी सबसे बड़ा मुद्दा है। करीब 70 हजार से अधिक सुझाव शिक्षा से जुड़े मिले। इसके अलावा नगरीय एवं ग्रामीण विकास से जुड़े करीब 40हजार, स्वास्थ्य पर 15 हजार से अधिक, समाज कल्याण पर करीब 16 हजार और कृषि क्षेत्र से संबंधित 27 हजार से अधिक सुझाव दर्ज किए गए।

इन जिलों से मिल रही भागीदारी

देवरिया, कानपुर देहात, हरदोई, जौनपुर, लखीमपुर खीरी, महराजगंज, प्रतापगढ़ और गोरखपुर जैसे जनपदों से सबसे अधिक भागीदारी रही। इन जिलों से कुल69,670 से अधिक फीडबैक प्राप्त हुए, जो दर्शाता है कि जनता इस अभियान को गंभीरता से ले रही है।

समाज कल्य़ाण क्षेत्र में सुधार की आवश्यकता

आगरा की चित्रा पारिख, सचिन भारद्वाज ने समाज कल्याण क्षेत्र में सुधार का सुझाव दिया है। उन्होंने कहा कि विधायकों के लिए न्यूनतम शैक्षिक योग्यता कम से कम स्नातक अनिवार्य की जाए। गौशाला समितियों में 50% महिलाओं की भागीदारी सुनिश्चित की जाए। छात्रावासों में स्वच्छता, पौष्टिक भोजन, चिकित्सकीय सुविधा तथा खेल-कूद के लिए उपयुक्त प्लेटफॉर्म उपलब्ध कराए जाएं।

लखनऊ में फिनटेक एंड एनालिटिक्स सिटी विकसित की जानी चाहिए

लखनऊ के कुंवर उर्जस्वित सिंह के अनुसार, उत्तर प्रदेश में एक वितरित डेटा सेंटर ग्रिड तथा लखनऊ में एक फिनटेक-एंड-एनालिटिक्स सिटी विकसित की जानी चाहिए, जिससे राज्य की वैश्विक सेवा-क्षमता और डेटा सुरक्षा सशक्त हो सके। स्थानीय शासन में एआई-को पायलट और एकीकृत नागरिक पोर्टल लागू कर वास्तविक समय में निर्णय प्रक्रिया और सेवाओं की दक्षता बढ़ाई जा सकती है। दूरगामी परिकल्पना के अंतर्गत स्पेस-टेक नीति तैयार की जाए तथा रक्षा-सम्बद्ध अंतरिक्ष तकनीक में स्वायत्ता प्राप्त करने हेतु उच्चस्तरीय शैक्षणिक एवं अनुसंधान संस्थानों की स्थापना का प्रस्ताव शामिल किया गया है।

पशुओं का स्वास्थ्य प्रभावित हो रहा, रोक लगाने के लिए स्कैनर ऐप विकसित किया जाए

कृषि कार्य से जुड़े अधिकांश किसान पशुपालन भी करते हैं, किंतु बीते कुछ वर्षों में पशु आहार बनाने वाले फैक्ट्री संचालक महंगाई से बचने अथवा अधिक लाभ कमाने की दृष्टि से पशु आहार में मिलावट करने लगे हैं। इसके कारण पशुओं का स्वास्थ्य प्रभावित हो रहा है। इस पर रोक लगाने के लिए एक ऐसा स्कैनर ऐप विकसित किया जाए, जो न केवल पशु आहार की शुद्धता की पहचान कर सके, बल्कि पशु को स्कैन करते ही उसकी नस्ल, दूध उत्पादन क्षमता तथा स्वास्थ्य संबंधी जानकारी भी उपलब्ध करा सके।

साथ ही, पशुपालन, मत्स्य पालन और मधुमक्खी पालन से जुड़े लोगों को बीमा के दायरे में लाया जाए, क्योंकि मधुमक्खी पालकों को बॉक्स चोरी होने तथा मछली पालकों को तालाब में अराजक तत्वों द्वारा विष डालकर मछलियों को मार देने या चोरी होने का खतरा बना रहता है।

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