नई दिल्ली। कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने Dr Manmohan Singh Fellows प्रोग्राम उद्घाटन समारोह में कहा कि, सबसे पहले मैं पहली बैच के फेलोज़ को बधाई देता हूं। आप की यह ज़िम्मेदारी भी है कि 140 साल पुरानी और गौरवशाली विरासत वाली कांग्रेस के विचारों को आप आगे बढाएंगे। इसलिए मैं आप सबका कांग्रेस परिवार में स्वागत करता हूं। मुझे डॉ० मनमोहन सिंह के साथ काम करने का मौक़ा मिला। वो बातें कम, काम ज़्यादा करते थे। आज के PM बातें ज़्यादा, काम जरा कम करते हैं। मनमोहन सिंह जी हमेशा Parliament sessions के दौरान house में होते थे। सवालों का जवाब भी देते थे। विपक्ष के बातों को respond करते थे। आज के PM इसे अपनी तौहीन समझते हैं।
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उन्होंने आगे कहा, जितना काम उनके जमाने में हुआ उसका 10% काम भी पिछले 11 सालों में नहीं हुआ। पढ़-लिख कर जो नेता बनते हैं उनको ज्ञान ज़्यादा होता है, वो काम ज़्यादा करते हैं। वो प्रचार में ज़्यादा ध्यान नहीं देते। हमारी आज़ादी की लड़ाई और राजनीति में प्रोफेशनल्स और बुद्धिजीवियों की हमेशा बड़ी भूमिका रही। 1885 में कांग्रेस बनी तो वकील, अध्यापक, डॉक्टर, इंजीनियर, वैज्ञानिक और अफसर उसके केंद्र में थे। महात्मा गांधी, नेहरू जी, सरदार पटेल, सरोजिनी नायडू जैसे सैकड़ों नायकों ने अपना शानदार कैरियर छोड़कर देश की सेवा की।
कांग्रेस ही अकेले पार्टी है जिसने हमेशा प्रोफेशनल्स को जगह दी और उनकी काबिलियत का सम्मान किया। डॉ. मनमोहन सिंह इसमें सबसे बड़ा उदाहरण हैं। राजीव गांधी जी भी राजनीति में आने से पहले पायलट थे। प्रधानमंत्री के रूप में उनका शानदार काम रहा। भारतीय इतिहास में 1990 के बाद UPA का शासनकाल सबसे अलग, बद्लाव का दौर था। सोनिया गांधी जी के नेतृत्व में professionals की मदद से सूचना अधिकार कानून, मनरेगा, शिक्षा अधिकार, खाद्य सुरक्षा, वनाधिकार जैसे ऐतिहासिक फैसले किये। डॉ मनमोहन सिंह ने 2008 की वैश्विक मंदी की परछाई भारत पर नहीं पड़ने दी। भारत की औसत 8% जीडीपी वृद्धि दर रही। मैं बताना चाहूंगा कि उसी दौरान आधार कार्ड पर काम चालू हुआ था। 2014 तक आधे से भी ज्यादा ग्रामीण घरों में बैंक खाते खुल चुके थे।
कांग्रेस अध्यक्ष ने कहा, Direct Benefit Transfer जैसी पहल और डिजिटल क्रांति का आधार उनके दौर में तैयार हुआ, और किसानों की 70 हजार करोड़ की कर्ज माफी के साथ कई महत्वपूर्ण फैसले हुए। आज किसानों की बुरी हालत है। 700 किसान शहीद हो गए सरकार की तरफ़ से उनको कोई पूछने वाला नहीं था। कांग्रेस पार्टी हमेशा progressive ideas के साथ चली। नेहरू जी के जमाने से cooperative sector, joint sector, public sector सारे दरवाजे खोल दिए। आज पब्लिक sector ख़त्म होने के कगार पर है। नौकरियां ख़त्म हो रही है।
आप सभी 50 fellows को 1300 से ज़्यादा applicants में से चुना गया है। ये सम्मान की बात है, साथ ही आप पर मनमोहन सिंह जी की विरासत को आगे बढ़ाने की जिम्मेदारी भी है। आज भारत ऐसे दोराहे पर खड़ा है, जहां एक तरफ तेज़ी से सामाजिक, आर्थिक और तकनीकी बदलाव हो रहे हैं तो दूसरी तरफ बेरोज़गारी, असमानता चरम पर पहुंच चुकी है। लोकतांत्रिक संस्थाओं पर कब्जे भी हो रहे हैं और हमले भी हो रहे हैं। मौजूदा राजनीति पर काम कम और दिखावा और प्रचार हावी है। ऐसे दौर में आप जैसे Professionals को आगे आने की ज़रूरत है।
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उन्होंने आगे कहा, आप में से हर किसी के पास विशेष कौशल है–Technology, Research, Communication, Marketing, Finance, Medicine, विदेश नीति, सेना आदि। आपको इन skills को जनता की भलाई और रक्षा के लिए इस्तेमाल करना है। आम लोगों के संघर्षों से खुद को जोड़ें और राजनीति में ईमानदारी, अनुशासन और संवेदनशीलता लाएं। उदाहरण के लिए, डेटा और टेक्नोलॉजी की मदद से ही हम वोट चोरी जैसे बड़े मुद्दे को सामने ला सके हैं। यह अब राष्ट्रीय मुद्दा बन चुका है और राहुल गांधी जी इस पर बिहार में यात्रा कर रहे हैं। इसी तरह, जाति जनगणना जैसे सामाजिक न्याय के मुद्दे पर भी हमें डेटा इकट्ठा करने और उसका विश्लेषण करने के लिए प्रोफेशनल्स के योग्दान की ज़रूरत है।
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