पेट की ऐसे करें मसाज, खत्म हो जाएगा सालों से परेशान कर रहा कब्ज! अमेरिका के डॉक्टर ने भी माना लोहा

कम पानी पीना, फल-सब्जियां और फाइबर की कमी, शारीरिक गतिविधि न करना, दवाइयों का असर, उम्र बढ़ना, थायरॉइड की समस्या या लंबे समय तक टॉयलेट की इच्छा दबाना इसके बड़े कारण हैं.

कम पानी पीना, फल-सब्जियां और फाइबर की कमी, शारीरिक गतिविधि न करना, दवाइयों का असर, उम्र बढ़ना, थायरॉइड की समस्या या लंबे समय तक टॉयलेट की इच्छा दबाना इसके बड़े कारण हैं.

मल त्याग में ज़्यादा जोर लगाना, पेट में फूलापन, मल पास करने में दर्द होना, स्टूल का सख्त और गुच्छों जैसा होना, पेट में भारीपन और थकान महसूस होना.

मल त्याग में ज़्यादा जोर लगाना, पेट में फूलापन, मल पास करने में दर्द होना, स्टूल का सख्त और गुच्छों जैसा होना, पेट में भारीपन और थकान महसूस होना.

अगर कब्ज लंबे समय से है, मल पर कंट्रोल नहीं रहता, रीढ़ की चोट है, ब्रेन की बीमारी जैसे पार्किंसन है, बुज़ुर्ग हैं या बहुत देर तक लेटे रहते हैं, तो पेट की मालिश (Abdominal Massage) से आराम मिल सकता है.

अगर कब्ज लंबे समय से है, मल पर कंट्रोल नहीं रहता, रीढ़ की चोट है, ब्रेन की बीमारी जैसे पार्किंसन है, बुज़ुर्ग हैं या बहुत देर तक लेटे रहते हैं, तो पेट की मालिश (Abdominal Massage) से आराम मिल सकता है.

पेट की हल्की-फुल्की मालिश करने से दर्द और असहजता कम होती है. यह आंतों की गति (Bowel Movement) को तेज़ करता है और मल त्याग को आसान बनाता है.

पेट की हल्की-फुल्की मालिश करने से दर्द और असहजता कम होती है. यह आंतों की गति (Bowel Movement) को तेज़ करता है और मल त्याग को आसान बनाता है.

पीठ के बल लेटकर घुटनों को हल्का-सा सीने तक लाएं. हथेली से नाभि के आसपास हल्के दबाव से ऊपर की ओर और गोलाई में मसाज करें. रोजाना 5–10 मिनट करने से राहत मिल सकती है.

पीठ के बल लेटकर घुटनों को हल्का-सा सीने तक लाएं. हथेली से नाभि के आसपास हल्के दबाव से ऊपर की ओर और गोलाई में मसाज करें. रोजाना 5–10 मिनट करने से राहत मिल सकती है.

अगर आपको इन्फ्लेमेटरी बाउल डिजीज (IBD), आंतों में सूजन, प्रेग्नेंसी, पेट में टांके या गंभीर स्पाइन इंजरी है तो पेट की मालिश नहीं करनी चाहिए.

अगर आपको इन्फ्लेमेटरी बाउल डिजीज (IBD), आंतों में सूजन, प्रेग्नेंसी, पेट में टांके या गंभीर स्पाइन इंजरी है तो पेट की मालिश नहीं करनी चाहिए.

अगर कब्ज के साथ तेज पेट दर्द, उल्टी, गैस न निकलना, आंतों में जोर-जोर की आवाज आना या मल बिल्कुल न आना जैसी समस्या हो तो तुरंत डॉक्टर से संपर्क करना जरूरी है.

अगर कब्ज के साथ तेज पेट दर्द, उल्टी, गैस न निकलना, आंतों में जोर-जोर की आवाज आना या मल बिल्कुल न आना जैसी समस्या हो तो तुरंत डॉक्टर से संपर्क करना जरूरी है.

Published at : 20 Aug 2025 05:38 PM (IST)

Preferred Sources

लाइफस्टाइल फोटो गैलरी

Read More at www.abplive.com