FIIs ने 30 मई को 6,450 करोड़ के शेयर बेचे, DIIs ने 9,095 करोड़ की इक्विटी खरीदी, एक्सपर्ट ने कहा- जून में बाजार में रहेगा पॉजिटिव मोमेंटम – fiis sold shares worth rs 6450 crore on may 30 diis bought equities worth rs 9095 crore experts said the market will have positive momentum in june

FIIs & DIIs Buy-Sell Data: एनएसई के प्रोविजनल डेटा के अनुसार, विदेशी संस्थागत निवेशकों (Foreign Institutional Investors (FIIs) ने 30 मई को 6,450 करोड़ रुपये के शेयर बेचे। जबकि घरेलू संस्थागत निवेशकों (Domestic Institutional Investors (DIIs) ने 9,095 करोड़ रुपये की शुद्ध खरीदारी के साथ कैपिटल मार्केट को सपोर्ट देना जारी रखा। कारोबारी सत्र के दौरान, DIIs ने 20,673 करोड़ रुपये के शेयर खरीदे और 11,577 करोड़ रुपये के शेयर बेचे। जबकि FIIs ने 44,434 करोड़ रुपये के शेयर खरीदे और 50,884 करोड़ रुपये के शेयर बेचे।

इस साल अब तक, FIIs 1,21,414 करोड़ रुपये के शेयरों के शुद्ध विक्रेता रहे हैं। जबकि DIIs ने 2,75,264 करोड़ रुपये के शेयर खरीदे हैं।

निफ्टी ने एक और सुस्ती वाले दिन का सामना किया। ये तंग, नैरो-रेंज वाले एक्शन का सीधा चौथा सत्र था। सतर्कतापूर्ण वैश्विक संकेतों और ब्रॉडर बेस्ड सेक्टोरल वीकनेस के बीच निफ्टी 0.3% गिरकर 24,751 पर बंद हुआ। सेंसेक्स 0.22% तक नीचे गिरा। ब्रॉडर मार्केट में भी कमजोरी देखने को मिली। निफ्टी मिडकैप 100 और स्मॉलकैप 100 दोनों में 0.1% की मामूली गिरावट आई। आईटी, मेटल और ऑटो सेक्टर्स में बिकवाली का दबाव देखा गया।

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मोतीलाल ओसवाल फाइनेंशियल सर्विसेज के सिद्धार्थ खेमका ने कहा कि इंस्टीट्यूशन फ्लो बाजार को सपोर्ट कर रहा है। प्रमुख मैक्रो डेवलपमेंट में, भारत की जीडीपी वृद्धि Q4 के लिए 7.4% तक बढ़ गई। जो कि 6.7% के स्ट्रीट अनुमानों से ज्यादा रही है। जबकि पूरे वर्ष FY25 की ग्रोथ 6.5% रही

खेमका ने कहा, “वैश्विक स्तर पर, आर्थिक वृद्धि को लेकर चिंता बनी हुई है। इसकी वजह ये है कि अमेरिकी अर्थव्यवस्था में Q1CY25 में 0.2% की गिरावट आई है। हालांकि यह अपेक्षित -0.3% से थोड़ा बेहतर है, जिससे भविष्य में फेड नीति के कदमों को लेकर सवाल उठ रहे हैं। अगले हफ्ते, ब्याज दर के लिहाज से संवेदनशील सेक्टर्स – विशेष रूप से पीएसयू बैंकों के आरबीआई की दर में कटौती की बढ़ती उम्मीदों के बीच फोकस में रहने की संभावना है। इसके अलावा, मासिक ऑटो बिक्री और वॉल्यूम डेटा जारी होने से ऑटोमोबाइल सेक्टर में सेक्टर-स्पेसिफिक मूव दिख सकते हैं।”

मई में निफ्टी 1.7% की बढ़त के साथ बंद हुआ। इसमें लगातार तीसरे महीने बढ़त देखने को मिली है। उन्होंने सुझाव दिया, “हमें उम्मीद है कि मजबूत Q4 जीडीपी आंकड़ों, आरबीआई की दर में कटौती की उम्मीदों और लगातार इंस्टीट्यूशनल फ्लो के कारण जून में बाजार अपना पॉजिटिव मोमेंटम बनाए रखेंगे।”

डिस्क्लेमर: (यहां मुहैया जानकारी सिर्फ सूचना हेतु दी जा रही है। यहां बताना जरूरी है कि मार्केट में निवेश बाजार जोखिमों के अधीन है। निवेशक के तौर पर पैसा लगाने से पहले हमेशा एक्सपर्ट से सलाह लें। मनीकंट्रोल की तरफ से किसी को भी पैसा लगाने की यहां कभी भी सलाह नहीं दी जाती है।)

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