क्या AI से हो जाएगा सभी बीमारियों का खात्मा? जानें क्या कहते हैं गूगल डीपमाइंड के CEO

कई बीमारियों को ठीक होने में सालों-साल लग जाते हैं। कभी-कभी तो ऐसा होता है कि, हम लोग पूरी कोशिश करते हैं, फिर भी कामयाब नहीं हो पाते। इसी पर टिप्पणी करते हुए गूगल डीपमाइंड के Co-founder और CEO डेमिस हसबिस का कहना है कि AI मॉडल अगले दशक(डिकेड) में सभी बीमारियों को ठीक कर सकते हैं। उनके दावों के इन बड़े-बड़े दिग्गजों को जैसे अरविंद श्रीनिवास, पेरप्लेक्सिटी एआई के सीईओ से समर्थन मिला, जिन्होंने हसबिस की निंदा करते हुए उन्हें जीनियस भी कहा।

AI बीमारियों को ठीक करने में कर सकता है मदद

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बता दें कि गूगल डीपमाइंड के को-फाउंडर और सीईओ डेमिस हसबिस ने भविष्यवाणी करते हुए बताया कि जो नया एआई मॉडल है, वह न सिर्फ बीमारियों को ठीक करने में मदद कर सकते हैं बल्कि यहां तक की लगभग सभी बीमारियों को समाप्त करने में भी मदद कर सकते हैं।

जानें डेमिस हसबिस ने क्या कहा?

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रविवार 20 अप्रैल 2025 को कोर बैकिंग सिस्टम(सीबीएस) के 1 घंटा लगातार बोलते रहने के दौरान हसबिस ने कहा कि, आप जानते हैं कि सिर्फ एक मेडिसिन को डिजाइन करने में 10 साल और अरबों डॉलर का खर्चा लग जाता है। हम इसे सालों से घटाकर शायद महीनों या हफ्तों में भी ला सकते हैं, जो आज सभी को अविश्वसनीय लगता है। यह मानव स्वास्थ्य में क्रांति पैदा करेगा और मुझे लगता है कि एक दिन देखना हम एआई से सभी बीमारियों को चुटकियों में खत्म कर सकेंगे।

क्या AI से सभी बीमारियों का हो जाएगा खात्मा?

एक 48 वर्षीय ब्रिटिश वैज्ञानिक ने जवाब दिया कि मुझे लगता है कि यह संभव है। शायद अगले एक दशक में या उसके आसपास। मुझे ऐसा नहीं लगता कि ऐसा क्यों नहीं हो सकता।

AI स्टार्टअप एजेंटिक ब्राउजर लॉन्च करने की भी बना रहा योजना

जानकारी के लिए बता दें कि एक्स(पूर्व में ट्विटर) पर हसबिस के वीडियो पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए अरविंद श्रीनिवास ने लिखा कि डेमिस एक सकुशल व्यक्ति हैं और उन्हें ऐसा करने के लिए दुनिया के सभी संसाधन दिए जाने चाहिए। बता दें कि Perplexity AI का मुख्य प्रोडक्ट एक एआई-संचालित खोज इंजन है, जो सीधे Google के साथ कम्प्टीशन करता है। नया AI स्टार्टअप Google Chrome के प्रभुत्व को चुनौती देने के लिए एक नया एजेंटिक ब्राउजर लॉन्च करने की भी योजना बना रहा है।

200 मिलियन प्रोटीन स्ट्रक्चर मैपिंग का काम सिर्फ एक साल में

हसबिस ने कहा कि वर्तमान एआई 2 लाख करोड़(200 मिलियन) प्रोटीन स्ट्रक्चर का मैपिंग करके एक साल में एक अरब साल का काम पूरा करने में सक्षम था। हाल ही में लिंक्डइन के सीईओ रीड हॉफमैन से बात करते हुए हसबिस ने कहा कि, इसलिए हमने एक साल में पीएचडी के एक अरब साल पूरे कर लिए।

एक प्रोटीन स्ट्रक्चर की खोज करने के लिए एक पीएचडी छात्र को एक रूल के रूप में अपनी पूरी पीएचडी लगानी पड़ती थी। साथ में यह भी बताया कि 4 या 5 साल और साइंस को 200 मिलियन प्रोटीन जानता है और हमने उन सभी प्रोटीन को एक साल में जोड़ दिया। अगर हम एआई के फंक्शन को जानते हैं तो हम बीमारी का पता लगा सकते हैं। हम ऐसी दवाएं और ड्रग डिजाइन कर सकते हैं, जो प्रोटीन की जगह के सही हिस्से से जुड़ेंगे।

 

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Apr 22, 2025 09:36

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