खचा-खच भरी है काशी : रेलवे स्टेशन-बस स्टैंड सब फुल, घंटों इंतजार में बेबस लोग; सीमा पर रोके गए हजारों वाहन

वाराणसी : माैनी अमावस्या के दूसरे दिन पूर्वांचल के वाराणसी, आजमगढ़ और मिर्जापुर मंडल के जिलों में जाम की व्यवस्थाओं को लेकर प्रशासन अलर्ट मोड में दिखा। वाराणसी में जगह-जगह वाहनों को अस्थाई वाहन स्टैंड में भेजा रहा था। वहीं, जिलों के रेलवे स्टेशन और बस स्टैंड पर यात्रियों की काफी भीड़ रही।

गलियों का राजा कहे जाने वाले बनारस के रास्ते माैनी अमावस्या के बाद भी ठसे हुए थे। सड़कों पर चारों तरफ जाम में फंसे लोगों ने गलियों का सहारा लेने की कोशिश की लेकिन असफल हो गए। कैंट, बनारस, सिटी, काशी, शिवपुर और सारनाथ स्टेशन पर काफी संख्या में लोगों की भीड़ दिखी।

इन स्टेशनों से लोग या तो काशी विश्वनाथ मंदिर जा रहे थे या गंगा घाट। वहीं, माैनी अमावस्या पर अधिकतर लोगों ने रैन बसेरों में अपनी रात गुजारी। वे लोग गुरुवार की सुबह स्टेशन और रोडवेज बसों को पकड़ने के लिए पहुंचे लेकिन भीड़ होने के नाते काफी मशक्कत करनी पड़ी। स्टेशन और बस अड्डों पर उन्हें एक बार फिर इंतजार ही करना पड़ा।

दूसरी तरफ, दशाश्वमेध का इलाका जाम होने की जानकारी के बाद गोदौलिया, गिरजाघर, लक्सा, गुरुबाग, रथयात्रा, लहुराबीर, चेतगंज से ही श्रद्धालुओं को भेलूपुर और मैदागिन की ओर भेजा जा रहा था। यहां से लोगों को केदार, हरिश्चंद्र, नगवां, पंचगंगा, सिंधिया आदि घाट पर स्नान के लिए भेजा गया। सोनारपुरा, भेलूपुर, कमच्छा आदि इलाकों में बैरिकेडिंग लगाकर वाहन चालकों को डायवर्ट किया गया।

महाकुंभ के मद्देनजर और माैनी अमावस्या के दूसरे दिन भी बनारस के इंट्री पाॅइंट सील रहे। यहां फंसे लोगों का कहना था कि महाकुंभ की तैयारी को लेकर बड़े बड़े दावे किए गए थे, ट्रैफिक व्यवस्था पर तमाम तरीके के प्रतिबंध लगाए गए हैं, रूट परिवर्तित किए गए हैं, यहां तक कि UP 65 नंबर के अलावा भारी वाहनों को जिले में आने से रोक लगा दी गई है। बावजूद इसके सारी तैयारियां धरी की धरी रह गईं।

सोनभद्र में मौनी अमावस्या पर संगम में डुबकी लगाने की आस लेकर निकले श्रद्धालुओं को मायूसी हाथ लगी। प्रयागराज पहुंचने से पहले ही पुलिस ने उन्हें जगह-जगह बैरिकेट्स लगाकर रोक दिया था। बुधवार को जिले में 2500 से अधिक वाहन जगह-जगह रोके गए थे, जिन्हें देर रात छोड़ा गया। जिले की चार इंट्री पाॅइंट्स हैं, जिनमें सबसे ज्यादा वाहन छत्तीसगढ़ बाॅर्डर पर दिखी।

बलिया के भरौली गोलंबर पर पुलिस ने सोमवार की रात 12 बजे से ट्रकों के परिचालन पर रोक लगा दिया है। इससे भरौली गोलम्बर से गाजीपुर जिले के कुंडेश्वर तक 20 किलोमीटर तक 18 घंटे से जाम लगा हुआ है। भरौली गोलम्बर से बलिया मार्ग पर बसंतपुर तक सुबह 9 बजे तक जाम लगा रहा। वहीं, बक्सर गोलम्बर से आरा रोड में 20 किलोमीटर दूर तक भारी वाहनों की लंबी कतार लगी रही।

भदोही के लालानगर, औराई, बाबूसराय सीमाओं पर प्रशासन की टुकड़ियों जिले के अंदर जाने से वाहनों को रोक रही थी। यहां पीने के पानी से लेकर खाने की चीजों को मनमाने रेट पर बेच रहे थे। सेमराध नाथ घाट पर करीब 90 हजार श्रद्धालुओं ने गंगा डुबकी लगाई है।

वहीं, रामपुर और सीतामढ़ी घाटों पर भी करीब सवा लाख लोगों ने गंगा स्नान किया। आचार्य गणेश पांडेय ने बताया कि मौनी अमावस्या पर गंगा स्नान से कई जन्मों के पाप कट जाते हैं और पितरों का आशीर्वाद भी मिलता है।

मिर्जापुर, भदोही, बलिया, जाैनपुर, गाजीपुर, चंदाैली, मऊ, सोनभद्र और आजमगढ़ में भी कुछ ऐसी ही व्यवस्थाएं दिखीं। इन जिलों में ऑटो-टोटो वालों ने मनमाना किराया वसूला।

मौनी अमावस्या पर श्रद्धालुओं के भीड़ के मद्देनजर कड़ी सुरक्षा व्यवस्था की गई थी। सड़क से लेकर घाटों तक पुलिसकर्मी तैनात किए गए थे। महिला पुलिस भी श्रद्धालुओं की सहायता में लगाई गई थीं। वहीं, सभी प्रमुख घाटों पर गोताखोरों की भी तैनाती की गई थी।

इत जिलों में रोके गए इतने वाहन
सोनभद्र – 2,500 से ऊपर
मिर्जापुर – 10,000 से ऊपर
भदोही – 10,000 से ऊपर
बलिया – 1000 से ऊपर
जाैनपुर – 25,000 से ऊपर
गाजीपुर – 2,000 से ऊपर
चंदाैली – 3,000 से ऊपर
मऊ – 300 से ऊपर
आजमगढ़ – 400 से ऊपर
वाराणसी – 3000 से ऊपर

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